
भारतीय जनता पार्टी, दिल्ली प्रदेश कार्यालय में पूर्व प्रदेश अध्यक्ष एवं सांसद मनोज तिवारी ने संवाददाता सम्मेलन में कहा कि आबकारी नीति में हुए भ्रष्टाचार के कारण केजरीवाल और मनीष सिसोदिया के पुतले खुद महिलाएं, युवा और समाजिक संगठनों द्वारा गली-गली में जलाए जा रहे हैं।
स्वराज की बात करने वाले आज शराब राज चला रहे हैं, इसलिए मुद्दे को भटकाने के लिए तरह-तरह की बातें कर रहे हैं क्योंकि केजरीवाल मुद्दों को भटकाने में मास्टर हैं। उन्होंने विधानसभा सत्र बुलाए जाने पर तंज कसते हुए कहा कि सबको उम्मीद थी कि शायद विधानसभा में ’दूध का दूध और शराब का शराब होना था’, लेकिन विधानसभा में शराब का ’श’ तक नहीं आया।
श्री तिवारी ने कहा कि भाजपा द्वारा अलग-अलग राशि बताकर घोटाले की जो बात की जा रही है, वे सब इसी आबकारी नीति के अंतर्गत हुए विभिन्न घोटाले हैं। उन्होंने उन सभी राशि पर स्पष्टीकरण देते हुए कहा कि 144.36 करोड़ रुपये लाइसेंस शुल्क के तौर पर माफ किया गया है। 30 करोड़ रुपये लाइसेंस शुल्क का ही हिस्सा है जो एयरपोर्ट से संबंधित है। इसके अलावा 2 फीसदी से 12 फीसदी बढ़ाए गए कमीशन में राशि भी है जिसको केजरीवाल सरकार शराब माफियाओं के साथ बांटने का काम कर चुकी है।
दिल्ली के खजाने को लूटने का काम केजरीवाल और सिसोदिया ने किया जो बेहद शर्मनाक है। केजरीवाल के भाषण पुरानी घिसी-पिटी स्क्रिप्ट बताते हुए कहा कि शराब के कट्टर विरोधी महात्मा गांधी के समाधि के सामने जाकर शराब में हुए भ्रष्टाचार के लिए गुहार लगाने और उसे सही बताने की बात केजरीवाल करते रहे हैं।
उन्होंने कहा कि आबकारी नीति में हुए भ्रष्टाचार की खुली पोल के बाद केजरीवाल को दिल्लीवालों के प्रति विश्वास खत्म होने का डर सताने लगा है। पानी की समस्या, परिवहन व्यवस्था, प्रदूषण, छठ पूजा पर रोक, सड़कों की बदहाली इत्यादि जैसे मुद्दों पर कभी सत्र न बुलाने वाले केजरीवाल एक प्रोपगेंडा मुख्यमंत्री हैं जो शराब नीति पर जवाब देने की बजाय मुद्दे को भटकाने की कोशिश कर रहे हैं, जिसे दिल्ली समझ चुकी है।
श्री तिवारी ने कहा कि अगर भ्रष्टाचार का आरोप झूठा है तो उन सवालों का जवाब देने में केजरीवाल क्यों परहेज कर रहे हैं? आबकारी नीति पर जवाब न देना पड़े, उसके लिए विदेशी अखबारों, शिक्षा इत्यादि की बातें करने लगते हैं। आबकारी नीति के तहत दिल्ली के टैक्स पेयर्स के पैसों को लूटने का काम केजरीवाल ने किया है उसका जवाब देना होगा और वे अपनी जिम्मेदारियों से भाग नहीं सकते हैं। पूरे देश में केजरीवाल घूम कर देश सुधारने की बात कर रहे हैं जबकि सच्चाई तो यह है कि उनसे दिल्ली ही नहीं संभल रही है। जो व्यक्ति दिल्ली नहीं संभाल सका, वह देश संभालने की बात करे तो इससे भद्दा मजाक और क्या हो सकता है? द
– जगदम्बा सिंह